खबर - अरुण मूंड
बैतूल मकदस पर इजरायल के कब्जे को सही ठहराने पर है रोश
पूरी दुनिया के मुसलमान इस फैसले का कर रहे हैं विरोध
अक्सा मस्जिद को मुस्लिम समुदाय के प्रथम काबा के तौर पर जाना जाता है
झुंंझुनूं। जमीयत उलेमा ए राजस्थान के झुंझुनू शाखा ने आज एक प्रेस कॉन्फ्रेंस रखकर अमेरिका के फैसले के खिलाफ विरोध जताते हुए कहा कि इस फैसले से मुसलमानों की आस्था पर ठेस पहुंचा है जिससे तमाम दुनिया के मुसलमानों में इस फैसले के खिलाफ विरोध एवं गुस्सा है दरअसल इजरायल में मौजूद यरुशलम में अक्सा मस्जिद है जिस में मुसलमानों के प्रथम तीर्थ स्थल काबा शरीफ है जो कि मुस्लिम समुदाय के ग्रंथों में मौजूद है लेकिन अमेरिकी सरकार के तुगलकी फरमान के बाद दुनियाभर के मुसलमान इस फैसले का विरोध कर रहे हैं जिसमें अमेरिकी सरकार ने इजरायल के यरुशलम में मौजूद अक्सा मस्जिद में एंबेसी खोलने की बात कही है और इस लाइब्रेरी सरकार का समर्थन किया है वही मुसलमान समुदाय का कहना है कि इसराइल सरकार मुस्लिम समाज के विरुद्ध है और पिछले 50 वर्षों से मस्जिद मस्जिद ए अक्सा को नेस्तनाबूद करने की कोई साजिश नहीं छोड़ी है इसी सिलसिले में आज जमीयत उलेमा ए राजस्थान भारत के तमाम शहरों में प्रेस कॉन्फ्रेंस करके यह बताया है कि कल जुम्मे की नमाज के बाद मुनासिब जगह पर अमन चैन की दुआ मांगेंगे और जमीयत उलेमा ए हिंद के अध्यक्ष हिंदुस्तान के राष्ट्रपति और और प्रधानमंत्री को इस गैर फैसले के खिलाफ ज्ञापन देकर अपनी मांग रखेंगे
बैतूल मकदस पर इजरायल के कब्जे को सही ठहराने पर है रोश
पूरी दुनिया के मुसलमान इस फैसले का कर रहे हैं विरोध
अक्सा मस्जिद को मुस्लिम समुदाय के प्रथम काबा के तौर पर जाना जाता है
झुंंझुनूं। जमीयत उलेमा ए राजस्थान के झुंझुनू शाखा ने आज एक प्रेस कॉन्फ्रेंस रखकर अमेरिका के फैसले के खिलाफ विरोध जताते हुए कहा कि इस फैसले से मुसलमानों की आस्था पर ठेस पहुंचा है जिससे तमाम दुनिया के मुसलमानों में इस फैसले के खिलाफ विरोध एवं गुस्सा है दरअसल इजरायल में मौजूद यरुशलम में अक्सा मस्जिद है जिस में मुसलमानों के प्रथम तीर्थ स्थल काबा शरीफ है जो कि मुस्लिम समुदाय के ग्रंथों में मौजूद है लेकिन अमेरिकी सरकार के तुगलकी फरमान के बाद दुनियाभर के मुसलमान इस फैसले का विरोध कर रहे हैं जिसमें अमेरिकी सरकार ने इजरायल के यरुशलम में मौजूद अक्सा मस्जिद में एंबेसी खोलने की बात कही है और इस लाइब्रेरी सरकार का समर्थन किया है वही मुसलमान समुदाय का कहना है कि इसराइल सरकार मुस्लिम समाज के विरुद्ध है और पिछले 50 वर्षों से मस्जिद मस्जिद ए अक्सा को नेस्तनाबूद करने की कोई साजिश नहीं छोड़ी है इसी सिलसिले में आज जमीयत उलेमा ए राजस्थान भारत के तमाम शहरों में प्रेस कॉन्फ्रेंस करके यह बताया है कि कल जुम्मे की नमाज के बाद मुनासिब जगह पर अमन चैन की दुआ मांगेंगे और जमीयत उलेमा ए हिंद के अध्यक्ष हिंदुस्तान के राष्ट्रपति और और प्रधानमंत्री को इस गैर फैसले के खिलाफ ज्ञापन देकर अपनी मांग रखेंगे
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